स्वस्तिक चिकार को क्यों नहीं खिला रही है RCB? 13 मैच हो गए, फिर भी डेब्यू का इंतजार!

आईपीएल 2025 अब अपने अंतिम दौर में पहुंच चुका है, और रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) ने अब तक 13 मुकाबले पूरे कर लिए हैं। लेकिन इन 13 मैचों में एक युवा खिलाड़ी ऐसा है जिसे अब तक एक बार भी प्लेइंग इलेवन में मौका नहीं मिला – स्वस्तिक चिकार। एक उभरते हुए बल्लेबाज के लिए यह काफी निराशाजनक स्थिति है, खासकर तब जब टीम लगातार खराब प्रदर्शन कर रही हो और नए विकल्पों की जरूरत महसूस हो रही हो।

कौन हैं स्वस्तिक चिकार?

स्वस्तिक चिकार एक युवा भारतीय बल्लेबाज हैं, जिन्होंने घरेलू क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन से सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा। उन्होंने टी20 टूर्नामेंट्स में कई बार तेज़ शुरुआत दी है और डेथ ओवर्स में भी लंबे शॉट्स खेलने की काबिलियत दिखाई है। उनकी बल्लेबाज़ी में आक्रामकता के साथ-साथ मैच को पढ़ने की समझ भी है, जो उन्हें एक उपयोगी खिलाड़ी बनाती है।

RCB ने उन्हें आईपीएल ऑक्शन में युवा प्रतिभा के तौर पर टीम में शामिल किया था। माना जा रहा था कि उन्हें इस सीज़न में मौका दिया जाएगा, खासकर तब जब टीम की टॉप ऑर्डर लगातार विफल हो रही है। लेकिन अब तक ऐसा नहीं हुआ।

RCB की टीम चयन पर सवाल

RCB की प्लेइंग इलेवन पर इस सीज़न लगातार सवाल उठते रहे हैं। टॉप ऑर्डर की असफलता, मिडिल ऑर्डर की नाजुकता और गेंदबाजी की सीमितता के बावजूद टीम ने कई बार एक जैसे खिलाड़ियों को मौके दिए हैं। कुछ खिलाड़ी जैसे मयंक अग्रवाल, जो पूरे सीज़न में प्रभावित नहीं कर सके, उन्हें बार-बार प्लेइंग इलेवन में शामिल किया गया है।

ऐसे में स्वस्तिक चिकार को नजरअंदाज करना न केवल टीम के लिए एक रणनीतिक भूल लगती है, बल्कि यह उस खिलाड़ी के मनोबल पर भी असर डाल सकती है जो पूरे सीजन मेहनत करके बेंच पर बैठा है।

सोशल मीडिया पर फैंस का गुस्सा

RCB फैन्स सोशल मीडिया पर इस मुद्दे को जमकर उठा रहे हैं। ट्विटर, इंस्टाग्राम और फेसबुक पर “#PlaySwastikChikara” जैसे हैशटैग चलने लगे हैं। फैन्स का कहना है कि जब टीम प्लेऑफ की दौड़ से लगभग बाहर हो चुकी है, तो कम से कम अब तो युवाओं को मौका दिया जाना चाहिए।

कई एक्सपर्ट्स ने भी इस बात को उठाया है कि RCB को अब भविष्य की तैयारी करनी चाहिए, और इसके लिए स्वस्तिक जैसे खिलाड़ियों को मैदान पर लाना ज़रूरी है। आईपीएल जैसे मंच पर युवा खिलाड़ियों को मौका न देना, खासकर तब जब टीम के अनुभवी खिलाड़ी लगातार असफल हो रहे हों, एक गलत निर्णय माना जा सकता है।

क्या है टीम मैनेजमेंट की सोच?

RCB के कोच और कप्तान ने अब तक इस पर कोई सीधा बयान नहीं दिया है कि स्वस्तिक चिकार को मौका क्यों नहीं दिया जा रहा। संभव है कि टीम उनकी तैयारी या अनुभव को लेकर आश्वस्त नहीं हो, लेकिन अगर यही कारण है तो फिर उन्हें टीम में शामिल ही क्यों किया गया? जब मयंक अग्रवाल, अनुज रावत और शाहबाज़ अहमद जैसे खिलाड़ियों को बार-बार मौके मिल सकते हैं, तो स्वस्तिक को एक भी मैच न देना कहीं न कहीं रणनीतिक विफलता को दर्शाता है।

RCB का आगे का रास्ता

अब जब RCB प्लेऑफ की दौड़ से लगभग बाहर है, तो टीम के पास खोने को कुछ नहीं है। यह वक्त है जब टीम को भविष्य के लिए तैयारी करनी चाहिए, और ऐसे में स्वस्तिक चिकार जैसे खिलाड़ियों को मौका देना ज़रूरी है। न सिर्फ इससे उन्हें आत्मविश्वास मिलेगा, बल्कि टीम को भी एक नया विकल्प देखने का मौका मिलेगा।

निष्कर्ष

स्वस्तिक चिकार जैसे होनहार युवा खिलाड़ी को लगातार नजरअंदाज करना RCB के लिए चिंता का विषय बनता जा रहा है। टीम की वर्तमान स्थिति को देखते हुए यह बिल्कुल सही समय है कि ऐसे खिलाड़ियों को आज़माया जाए, जो आने वाले सीज़न्स में टीम की रीढ़ बन सकते हैं।

RCB को अब यह समझने की ज़रूरत है कि सिर्फ बड़े नामों पर निर्भर रहकर ट्रॉफी नहीं जीती जाती, बल्कि युवाओं में भरोसा दिखाकर ही एक मजबूत टीम बनती है। उम्मीद है कि आने वाले मैचों में हमें स्वस्तिक चिकार मैदान पर अपने खेल का जौहर दिखाते नजर आएंगे।

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